सनसिटी अस्पताल में मरीज की मौत

सनसिटी अस्पताल में मरीज की मौत

डॉ धारीवाल व स्टाफ के खिलाफ इलाज में कोताही का आरोप

जोधपुर, शहर के बनाड़ रोड स्थित राजस्थान अस्पताल के सामने रहने वाली एक युवती के जान डॉक्टर की लापरवाही से चली गई। मृतका के पिता ने सनसिटी अस्पताल के संचालक डॉक्टर एमएल धारीवाल और नर्सिंग स्टाफ पर इलाज में कोताही का आरोप लगाया और पुलिस में इसकी रिपोर्ट दी है। पुलिस की तरफ से अब अनुसंधान किया जा रहा है। राजस्थान अस्पताल के सामने बनाड़ रोड निवासी विक्रमसिंह राणावत ने पुलिस को दी रिपोर्ट में बताया कि उसकी पुत्री 20 साल की हर्षिता को 4 अक्टूबर को तबीयत खराब होने पर श्रीराम अस्पताल में दिखाया गया था। जहां पर उसे डेंगू पॉजिटिव बताया गया। इस अस्पताल में 7 अक्टूबर तक हर्षिता का इलाज चला। बाद में 8 अक्टूबर को परिजन उसे पावटा स्थित सनसिटी अस्पताल एवं अनुसंधान केेंद्र पर लेकर आए। जहां पर पूर्व की जांचों को देखने के बाद उसकी पुत्री हर्षिता को डेंगू एनएसआई बताया गया और डॉक्टरी देखरेख की सलाह दी गई।

रिपोर्ट के अनुसार 9 अक्टूबर को अस्पताल के डॉक्टर एमएल धारीवाल ने उसकी पुत्री को ड्रिप चढ़ाई, इसमें मल्टी विटामिन और एंटिबायोटिक भी थी। कुछ देर बाद उसकी पुत्री तबीयत बिगडऩे पर अस्पताल के स्टाफ को बताया गया तो उन्होंने कहा कि कुछ देर बाद सब नार्मल हो जाएगा। मगर स्टाफ ने ध्यान नहीं दिया और ना ही डॉक्टर धारीवाल को बुलाया गया। शाम तक हर्षिता के प्लेटलेट्स तक गिर गए। बिगड़ी हालत में होने और मृत्यु को नजदीक जान कर परिजन हर्षिता को एम्स अस्पताल लेकर पहुंचे। मगर 9-10 अक्टूबर की रात को हर्षिता की मृत्यु हो गई। उसके मौत से परिजन सदमें में आ गए। अब पीडि़त परिवार ने सनसिटी अस्पताल के  संचालक डॉक्टर एमएल धारीवाल और स्टाफ के खिलाफ इलाज में कोताही बरते जाने का आरोप लगाते हुए महामंदिर थाने में रिपोर्ट दी है। जिसकी अब पुलिस जांच कर रही है।

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