विज्ञान संपूर्ण विश्व और मानव जीवन के लिए महत्वपूर्ण-देवनानी
विज्ञान जागरूकता परीक्षा 2024-25 का पुरस्कार वितरण समारोह संपन्न
अजमेर,(डीडी न्यूज)। विज्ञान संपूर्ण विश्व और मानव जीवन के लिए महत्वपूर्ण-देवनानी। विज्ञान संपूर्ण विश्व और मुख्यतः मानव जीवन के लिए बहुत अधिक महत्वपूर्ण उपादान है तथा दैनिक जीवन में यह प्रत्येक कदम पर हमारे सहायक की भूमिका निभाता है।
यह भी पढ़ें – अब छोटे व्यापारी भी मालगाड़ी से भेज सकेंगे सामान
यह बात राजस्थान विधानसभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने रविवार को विज्ञान भारती अजयमेरु द्वारा आयोजित ग्यारहवीं विज्ञान जागरूकता परीक्षा 2024-25 का पुरस्कार वितरण समारोह को संबोधित करते हुए कही। देवनानी कार्यक्रम के मुख्य अतिथि थे।
पुरस्कार वितरण समारोह राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष वासुदेव देवनानी के मुख्य आतिथ्य में रविवार को सूचना केंद्र सभागार अजमेर में आयोजित किया गया। इस अवसर पर देवनानी ने कहा कि विज्ञान संपूर्ण विश्व और मुख्यतः मानव जीवन के लिए बहुत अधिक महत्वपूर्ण उपादान है तथा दैनिक जीवन में यह प्रत्येक कदम पर हमारे सहायक की भूमिका निभाता है।
उन्होंने कहा कि प्राचीन भारत में विज्ञान ने भारत की प्रतिष्ठा को आसमान की बुलंदियों तक पहुँचा दिया था,जिसका उदाहरण रामायण में वर्णित पुष्पक विमान आदि का प्रयोग है। मोहनजोदड़ो और हड़प्पा सभ्यता का नगरीय संयोजन भारतीय विज्ञान की ही देन है। भारत ने गणित पूरे विश्व को सिखाया है। विद्यार्थी वर्ग को किताबी ज्ञान मात्र पर आधारित न रहते हुए विज्ञान को लोकप्रिय बनाने एवं प्रचारित करने हेतु तैयार रहना होगा।
उदघाटन समारोह की अध्यक्षता करते हुए सम्राट पृथ्वीराज चौहान राजकीय महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो मनोज कुमार बहरवाल ने कहा कि विज्ञान तो मानव का अभिन्न अंग है। विज्ञान के बिना आधुनिक भारत के विकास का सपना अधूरा है। विज्ञान भारती स्वदेशी विज्ञान और वर्तमान पीढ़ी के मन में विज्ञान के प्रति रुचि जाग्रत करने में अहम भूमिका अदा कर रही है।
कार्यक्रम में विज्ञान भारती चित्तौड़ प्रांत के सचिव डॉ.गोविन्द नारायण पारीक ने विज्ञान भारती का विस्तृत परिचय दिया तथा अमृत काल में भारतीय वैज्ञानिकों का स्मरण करवाते हुए विश्व को उनके योगदान पर प्रकाश डाला।
विज्ञान भारती अजयमेरु के अध्यक्ष पीराराम सोनी ने औपचारिक धन्यवाद ज्ञापित किया। उन्होंने विज्ञान की प्राचीन भारतीय परंपरा को विरासत के रूप में सहेज कर रखने की बात पर जोर दिया और बताया कि वर्तमान में बाल वैज्ञानिकों में छिपी ऊर्जा को बाहर लाने की जरूरत है। हमें अपने प्राचीन विज्ञान तक जाने की अभी भी आवश्यकता है। पारितोषिक वितरण समारोह के साथ ही विज्ञान प्रदर्शनी और पुस्तक प्रदर्शनी का भी आयोजन किया गया जिसका विद्यार्थियों ने पूर्ण उत्साह से अवलोकन किया।
कार्यक्रम में विज्ञान भारती के संरक्षक प्रो पुरुषोत्तम परांजपे, बीकानेर कृषि विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रो बीआर छीपा, पॉलिटेक्निक कॉलेज अजमेर के प्राचार्य प्रो सुनील जैन भी उपस्थित थे। डॉ कमलेश रावत,हरजी राम चौधरी,विष्णु शर्मा,अतुल कुमार अग्रवाल,रवि प्रकाश माथुर,अरविंद शर्मा की उपस्थित थे।
कार्यक्रम में विज्ञान भारती अजयमेरू द्वारा 5 दिसंबर 2025 को आयोजित ग्यारहवीं विज्ञान जागरुकता परीक्षा 2024-25 के 44 निजी एवं राजकीय विद्यालयों तथा उनके विजेता विद्यार्थियों को स्मृति चिन्ह और प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया। इस परीक्षा में लगभग 5000 विद्यार्थियों ने भाग लिया था। संचालन डॉ.गजेन्द्र मोहन ने किया।