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फर्जी ई-टिकट पर यात्रा करते यात्री को पकड़ा

  • जोधपुर रेल मंडल पर सघन टिकट जांच अभियान
  • 23 बार फर्जी टिकट पर यात्रा करने की हुई पुष्टि

जोधपुर,उत्तर-पश्चिम रेलवे के जोधपुर मंडल के टिकट चेकिंग स्टाफ ने फर्जी ई-टिकट पर यात्रा करते पाए जाने पर जोधपुर निवासी एक और यात्री को आरपीएफ के सुपुर्द किया है। यात्री फेक ऑनलाइन टिकट पर पिछले एक वर्ष में 23 बार यात्रा कर चुका लेकिन आखिरकार गुरुवार रात डेगाना से मेड़ता रोड रेलवे स्टेशनों के बीच पकड़ा गया।

वरिष्ठ मंडल वाणिज्य प्रबंधक जितेंद्र मीणा ने बताया कि डीआरएम पंकज कुमार सिंह के निर्देश और नेतृत्व में जोधपुर मंडल के सभी रेल खंडों पर सघन टिकट जांच अभियान चलाया जा रहा है जिसके तहत टिकट चेकिंग स्टाफ ने उल्लेखनीय कार्य करते हुए एक ऐसे यात्री को गुरुवार रात्रि में ट्रेन नंबर 20490,मथुरा-बाड़मेर एक्सप्रेस सुपरफास्ट में पकड़ा जिसने फर्जी ऑनलाइन टिकट पर अनेक बार ट्रेन में यात्रा करना स्वीकार किया।

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उन्होंने बताया कि मंडल के टीटीई मोहित शर्मा,धनराज मीणा व बाबू लाल मीणा 23 मार्च को मथुरा- बाड़मेर एक्सप्रेस में डेगाना से मेड़ता रोड स्टेशनों के मध्य टिकट चेकिंग कर रहे थे तथा इस दौरान यात्री महेंद्र पंवार ने जनरल कोच में आरक्षित ई-टिकट दिखाकर धोखे से यात्रा करने की कोशिश की लेकिन पीएनआर टिकट की वैद्यता जांचने पर वह फर्जी निकला तब जोधपुर वाणिज्य नियंत्रक कार्यालय को इसकी सूचना दी तथा उससे रेलवे जयपुर से मेड़ता रोड तक रेलवे नियमानुसार जुर्माना वसूल कर मेड़ता रोड जंक्शन पर उतार कर आर पीएफ के सुपुर्द कर दिया। बताया जाता है कि यात्री दिल्ली के एक अस्पताल में कार्यरत है तथा जोधपुर आता जाता रहता है।

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पकड़े जाने के बाद उसने एक साल में 23 बार फेक ऑनलाइन टिकट पर यात्रा करना स्वीकार किया और उसके मोबाइल में मिले फेक टिकटों से इसकी पुष्टि भी हुई है। यात्री महेंद्र पंवार ने 23 मार्च को ट्रेन नंबर 12916,आश्रम एक्सप्रेस के स्लीपर क्लास में फर्जी ई-टिकट पर दिल्ली से जयपुर तक यात्रा की और फिर उसी पीएनआर टिकट को चालाकी से एडिट कर ट्रेन नंबर 20490 में जयपुर से जोधपुर के बीच जनरल कोच में यात्रा कर रहा था लेकिन पकड़ा गया। रेलवे ने कोरोना समाप्ति के बाद जनरल कोचों में रिजर्वेशन की अनिवार्यता समाप्त कर दी थी। उल्लेखनीय है कि यह इस माह की ऐसी तीसरी घटना है। पिछले सप्ताह टीटीई महेंद्र गहलोत ने ट्रेन 22931, बान्द्रा-जैसलमेर ट्रेन में ऐसा ही फर्जी टिकट पकड़ा था।

ऐसे हुआ संदेह

यात्री ने टिकट मांगने पर टिकट चेकिंग स्टाफ को ट्रेन के एस-6 कोच में बर्थ नंबर 21 पर आरक्षण का ऑनलाइन टिकट दिखाया लेकिन टिकट देखते ही टीटीई को टिकट फर्जी होने का संदेह हुआ क्योंकि इस ट्रेन में एस-6 कोच ही नहीं है और साथ ही आरक्षित टिकट होने के बावजूद जनरल कोच में यात्रा करने से संदेह गहरा गया था। यात्री ने इसी पीएनआर टिकट पर दिल्ली से जयपुर के बीच आश्रम एक्सप्रेस के एस-6 में बर्थ नंबर 21 का फर्जी टिकट बना कर यात्रा करना स्वीकार किया।

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