मुख्य आरोपी एपी नहीं लगा हाथ, इनामी अपराधी दो साथियों का आत्मसमर्पण
- बंदी सुरेश सिंह हत्याकांड
- पाली से लाए गए सहयोगी जबर सिंह को किया कोर्ट में पेश
जोधपुर,शहर के रातानाडा भाटी चौराहा के पास में साल 2021 में पुलिस अभिरक्षा में बंदी सुरेश सिंह हत्याकांड के अपराधियों की धरपकड़ पुलिस की तरफ से निरंतर जारी है। मामले का मुख्य आरोपी आनंदपाल उर्फ एपी अभी पुलिस के हाथ नहीं लगा है। मगर उसके कई साथियों को पुलिस द्वारा पकड़ा जा चुका है।
सप्ताह भर पहले पुलिस ने पाली में मणिहारी गांव में दबिश देकर आनंद पाल को पनाह देने वाले जबर सिंह को घेराबंदी कर पकड़ा था। मगर एपी,हिमांशु और भरत सिंह नाम के अपराधी भागने में सफल हो गए थे। पुलिस की टीमें लगातार इनका पीछा करती रही है।
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सोमवार को पुलिस की टीमें लगी हुई थी। इधर बीच में सूचना आई कि लगातार भागते हुए आज मामले से जुड़े दो अभियुक्तों दस हजार के इनामी हिमांशु और भरत सिंह ने सरेण्डर किया है। आरंभिक जांच में उसके कोर्ट में सरेण्डर की जानकारी मिली है। उन्हें रातानाडा पुलिस की तरफ से गिरफ्तार किया जाएगा। पुलिस ने गत दिनों भगोड़े अपराधियों पर इनाम भी घोषित कर दिया था।
पाली के जबर सिंह को पुलिस ने सप्ताह भर पहले घेराबंदी कर पकड़ा था। उसे अजयपाल सिंह उर्फ एपी को पनाह दिए जाने के आरोप में पकड़ा गया। उसके व उसके भाई के घर से पुलिस ने 44 लाख रुपए भी जब्त किए थे। साथ ही 18 मोबाइल, माइनिंग में लगे 22 वाहनों को भी जब्त कर पाली पुलिस के हवाले किया गया था। जबर सिंह इन दिनों रातानाडा पुलिस की अभिरक्षा में चल रहा था। सोमवार को उसे फिर से कोर्ट में पेश किया गया।
इस मामले में वांटेड बदमाशों की तलाश में पुलिस की टीम ने कमिश्नर रविदत्त गौड के निर्देश पर पाली पहुंची थी। यहां मनिहार सहित दो ठिकानों पर छापेमारी की गई। इस दौरान पुलिस को बड़ी मात्रा में नगदी, हथियार, मोबाइल और सिम बरामद हुई है। इस कार्रवाई के दौरान हालांकि आरोपी अंधेरे का फायदा उठाकर भाग गए लेकिन उन्हें शरण देने वाला जबर सिंह को पुलिस ने पकड़ लिया था। पुलिस का कहना है कि एपी और उसके साथियों की जबर सिंह ही मदद करता था। पुलिस के डर से अन्य लोगों से मदद मिलना बंद हो गई थी। यह भी आशंका है कि आरोपी इस बार फिर से किसी बड़ी घटना करने की फिराक में थे,जबर सिंह जो आर्थिक रूप से मदद करता था, इसलिए अब उन्हें मदद नहीं मिल सकेगी।
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