जोधपुर: कौशल एवं रोजगार राज्यमंत्री ने की वंदे गंगा अभियान प्रगति की समीक्षा

  • अधिकारियों को आउट-ऑफ-द-बॉक्स सोच अपनाने के लिए किया प्रेरित
  • स्वच्छता,पर्यावरण और सामुदायिक भागीदारी पर दिया बल

जोधपुर(डीडीन्यूज),जोधपुर: कौशल एवं रोजगार राज्यमंत्री ने की वंदे गंगा अभियान प्रगति की समीक्षा। राजस्थान सरकार के कौशल, नियोजन,रोजगार,उद्यमिता एवं श्रम राज्यमंत्री केके विश्नोई ने रविवार को जोधपुर स्थित मारवाड़ इंटरनेशनल सेंटर में वंदे गंगा जल संरक्षण जन अभियान एवं अन्य विकासात्मक गतिविधियों की उच्चस्तरीय बैठक में समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित किया कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की परिकल्पना के अनुरूप सभी कार्य समयबद्धता एवं गुणवत्ता के साथ धरातल पर क्रियान्वित हों ताकि आमजन को इनका प्रत्यक्ष लाभ मिल सके।

जल संरक्षण को जनआंदोलन बनाने का आह्वान
राज्यमंत्री विश्नोई ने कहा कि वंदे गंगा जल संरक्षण जन अभियान राज्य में जल चेतना को जन आंदोलन का रूप देने का एक सशक्त प्रयास है। इस अभियान के तहत जल संरक्षण,वर्षा जल संग्रहण और स्रोतों के पुनर्जीवन पर विशेष बल दिया जा रहा है। उन्होंने पीएचईडी,जल संसाधन विभाग, जलग्रहण विकास (वाटरशेड) एवं मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन अभियान से जुड़े कार्यों की विस्तृत समीक्षा करते हुए यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए कि हर कार्य स्थायी प्रभाव छोड़ने वाला हो।

उन्होंने ज़ोर दिया कि ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में पुरातन बावड़ियों व जल स्रोतों के तकनीकी नवाचार द्वारा पुनरोद्धार को गति दी जाए ताकि वर्षा जल संचयन की दीर्घकालिक व्यवस्था हो सके। राज्यमंत्री ने कैच द रेन,स्वच्छ भारत मिशन और वन विभाग के पौधा रोपण अभियान की प्रगति की समीक्षा करते हुए कहा कि इन अभियानों को आपस में समन्वित कर जनभागीदारी आधारित मॉडल पर क्रियान्वित किया जाए। उन्होंने कहा कि एक पेड़ माँ के नाम अभियान के तहत अधिक से अधिक पौधारोपण करते हुए उनकी जियो टैगिंग और देखरेख सुनिश्चित की जाए।स्वच्छता को लेकर उन्होंने निर्देशित किया कि गांवों एवं शहरी बस्तियों में सतत साफ-सफाई एवं कचरा प्रबंधन की प्रणाली विकसित की जाए।

जीनगर समाज का समर कैंप संपन्न

विभागीय समन्वय और सीएसआर संसाधनों का बेहतर उपयोग करें
राज्यमंत्री विश्नोई ने कहा कि जिला प्रशासन व समस्त विभाग आपसी समन्वय से कार्य करें ताकि योजनाओं का एकीकृत लाभ आमजन तक पहुंचे। उन्होंने उद्योगों और निजी कंपनियों से सीएसआर (कॉरपोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी) के माध्यम से जल संरक्षण,शिक्षा, स्वास्थ्य एवं हरित अभियान में सहयोग लेने के निर्देश दिए।
राज्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि विकास कार्यों में स्थानीय जनप्रतिनिधियों,सामाजिक संगठनों और मीडिया की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित की जाए। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार की प्राथमिकता जनसेवा और पारदर्शी प्रशासन है, और इसके लिए प्रत्येक अधिकारी जवाबदेह है। बैठक में राज्यसभा सांसद राजेंद्र गहलोत,शहर विधायक अतुल भंसाली,राजेंद्र पालीवाल,जिला कलेक्टर गौरव अग्रवाल,जोधपुर विकास प्राधिकरण के आयुक्त उत्साह चौधरी,जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ. धीरज कुमार सिंह सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी एवं जनप्रतिनिधि उपस्थित थे।