सात करोड़ का फ्रॉड 15 गिरफ्तार, 10 क्रेडिट कार्ड 37 एटीएम 52 सिम व 35 मोबाइल बरामद

  • ऑपरेशन साइबर शील्ड
  • कॉल सेंटरों में चल रहे गोरखधंधे
  • कुड़ी और भगत की कोठी थाना क्षेत्र में कॉल सेंटर पर दबिश

जोधपुर,(डीडी न्यूज)।सात करोड़ का फ्रॉड 15 गिरफ्तार, 10 क्रेडिट कार्ड 37 एटीएम 52 सिम व 35 मोबाइल बरामद। प्रदेश मुख्यालय के आदेश पर बढ़ते साइबर अपराधों की रोकथाम की कड़ी में पुलिस सजग हो गई है। जोधपुर कमिश्ररेट में भी साइबर अपराध तेजी से बढ़ रहे हैं। पुलिस धोखाधड़ी के प्रकरणों का भी निरंतर खुलासा कर रही है।

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कमिश्नरेट में चल रहे कॉल सेंटर्स पर पुलिस की सजग निगाह जमी है। 11 जनवरी को पुलिस ने मधुबन हाउसिंग बोर्ड डीडीपी नगर में एक कॉल सेंटर पर रेड देकर महिला को पकड़ा था,मगर मुखिया कंपनी बंद कर भाग गए। जिनकी अब तक तलाश जारी है। इधर पुलिस ने गुरुवार को कुड़ी भगतासनी एरिया सेक्टर 9 में एक और कॉल सेंटर पर दबिश देकर दस युवतियां,महिलाएं एवं दो युवकों को पकड़ा है।

आरोप है कि कार सर्विस प्रोवाइड कराने के नाम पर कस्टमरों से धोखाधड़ी की जाती थी। कुड़ी भगतासनी में सेक्टर 2 में दो साल पहले भी बड़े स्तर पर कॉल सेंटर्स का खुलासा किया था। डीसीपी वेस्ट राजर्षि राजवर्मा के सुपरविजन में साइबर अपराधों पर अंकुश लगाने के लिए साइबर टीमों को सजग कर रखा गया है। इसी कड़ी में गुरुवार को कुड़ी भगतासनी पुलिस ने सेक्टर 9 में एक स्थान पर चल रहे कॉल सेंटर का खुलासा करते हुए दस युवतियों-महिलाओं और दो युवकों पकड़ा है।

आरंभिक पड़ताल में सामने आया कि यह लोग कारों की सर्विस प्रोवाइड कराने के नाम पर ग्राहकों के दस्तावेज हासिल कर बाद में धोखाधड़ी की वारदातें करते थे। शिकायत सामने आने पर सत्यापन के बाद पुलिस ने रेड दी और कॉल सेंटर्स से पकड़ा गया। पुलिस वहां से कई कंप्यूटर सेट,फर्जी दस्तावेजों को भी जब्त किया है।

इन्हें पकड़ा गया 
कुड़ी पुलिस के अनुसार कॉल सेंटर्स से पंचोलिया नाडी प्रतापनगर हाल कुड़ी भगतासनी सेक्टर 9 निवासी सुमेरचंद्र उर्फ सौरभ कंडारा पुत्र सुरेंद्र कंडारा,शेरगढ़ के सुवालिया हाल 8जे 48 निवासी जगदीश पुत्र दमाराम जाट एवं कुड़ी में रहने वाली लक्ष्मी सुथार,लक्षिता,सोनू यादव, भावना मेवाड़ा,पूजा सिसोदिया, प्रियंका मेवाड़ा,पूनम कडेला,मनीषा मेघवाल एवं रिया को पकड़ा गया है।

मधुबन डीडीपी नगर में 11 जनवरी को पकड़ा कॉल सेंटर 
मबुधन हाउसिंग बोर्ड बासनी डीडीपी नगर स्थित मकान में फर्जी कॉल सेंटर से साइबर ठगी करने वालों के सक्रिय होने की सूचना मिली थी। पुलिस ने दबिश दी तो वहां एक युवती मिली। जिससे मोबाइल व रजिस्टर जब्त किए गए। युवती से पूछताछ में सामने आया कि कुड़ी भगतासनी हाउसिंग बोर्ड निवासी गौरव पंजाबी व अमित सिंह उर्फ हन्नीसिंह कॉल सेंटर के संचालक हैं। जो वाहन मालिकों के मोबाइल नम्बर मुहैया करवाते थे और फिर कॉल सेंटर में कार्य करने वाली युवतियां इनसे सम्पर्क कर वाहनों के ब्रेक डाउन होने के दौरान सर्विस कार्ड बनाने का झांसा देती थी।

फर्जी कार्ड बनाते,सिम तोड़ कर फेंक देते 
आरंभिक पड़ताल में यह भी सामने आया कि वाहन मालिकों से 35 सौ से चार हजार रुपए जमा होने पर फर्जी कार्ड बनाकर पार्सल के जरिए भेजते हैं। फिर वह सिम तोडक़र फेंक देते हैं। ताकि कार्ड फर्जी होने पर मालिक सम्पर्क न कर पाए। कॉल सेंटर संचालक युवतियों को दूसरी सिम मुहैया करवाते हैं और उनसे फिर दूसरे लोगों को कॉल करती हैं।

संचालकों ने बना रखा था सोशल मीडिया ग्रुप 
कॉल सेंटर संचालकों ने सोशल मीडिया पर ग्रुप बना रखा है और उसी में वाहन मालिकों के मोबाइल नम्बर भेजते हैं। दोनों संचालक ग्रुप एडमिन हैं। पुलिस ने युवती से मोबाइल व दो रजिस्टर जब्त किए थे। धोखाधड़ी और आइटी एक्ट की धाराओं में मामला दर्ज कर युवती को गिरफ्तार किया।

चार मामलों का हुआ खुलासा 
डीसीपी राजर्षि राज वर्मा ने बताया कि इस ऑपरेशन के तहत चार महत्वपूर्ण मामलों का खुलासा किया गया। इनमें से दो मामलों में फर्जी कॉल सेंटर का पर्दाफाश किया गया, जिनसे 13 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया। एक अन्य मामले में सोशल मीडिया के माध्यम से यूएसडीटी का अवैध लेन-देन कर ठगी करने वाले एक युवक को पकड़ा गया। चौथे मामले में एक आरोपी को पश्चिम बंगाल के मिदनापुर जिले से गिरफ्तार किया गया,जिसने एक बुजुर्ग को फ्रेंड्स क्लब का झांसा देकर 42 लाख रुपए की ठगी की थी। इन मामलों में पुलिस ने 10 क्रेडिट कार्ड, 37 एटीएम कार्ड,52 सिम कार्ड और 35 मोबाइल बरामद किए हैं।

डीसीपी ने बताया कि इस ऑपरेशन के तहत 203 मोबाइल नंबर और 799 आईएमआई नंबर को ब्लॉक करवाया गया है, जो साइबर क्राइम में उपयोग हो रहे थे। यह ऑपरेशन 31 जनवरी तक जारी रहेगा।

साढ़े छह करोड़ रुपए की ठगी 
डीसीपी के अनुसार पुलिस थाना भगत की कोठी और पुलिस थाना कुड़ी भगतासनी ने फर्जी कॉल सेंटर का खुलासा किया,जो वाहन चालकों को गाड़ी के खराब होने पर ब्रेक डाउन सर्विस देने के नाम पर ठगी कर रहे थे। इन कॉल सेंटरों के माध्यम से युवतियों और महिलाओं को सिम कार्ड देकर वाहन मालिकों के नंबर दिए जाते थे। फिर इन नंबरों पर कॉल कर बताया जाता कि किसी भी जगह गाड़ी खराब होने पर तुरंत सर्विस उपलब्ध करवाई जाएगी,जिसके लिए 3 से 4 हजार रुपए का एक कार्ड बेचा जाता था।

जब वाहन चालक इस कार्ड को खरीदते,तो उस पर दिए गए नंबर बंद मिलते। इस ठगी के माध्यम से अब तक साढ़े 6 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी की जा चुकी है। पुलिस ने इस मामले में कुल 13 आरोपियों को गिरफ्तार किया है।

फ्रेंड्स क्लब की सदस्यता के लिए ठगी 
बासनी थाना क्षेत्र में एक 57 वर्षीय बुजुर्ग को कॉल कर एक व्यक्ति ने उसे महिलाओं से संपर्क करवाने के लिए फ्रेंड्स क्लब में सदस्यता दिलाने का झांसा दिया। बुजुर्ग व्यक्ति ने उसके बातों में आकर क्लब की सदस्यता के लिए शुल्क जमा किया। इसके बाद आरोपी ने बुजुर्ग को कुछ वीडियो भेजकर उसे ब्लैकमेल किया और 42 लाख रुपए से अधिक की ठगी की। इस मामले में बासनी पुलिस ने जांच शुरू की और पता चला कि मुख्य आरोपी पश्चिम बंगाल के मिदनापुर क्षेत्र का रहने वाला है।

बासनी थाने के सब इंस्पेक्टर सुरेश कुमार के नेतृत्व में एक टीम वहां भेजी गई, जिसने आरोपी अश्विनी ओझा को गिरफ्तार कर लिया। उसके पास से 1 लाख रुपए नकद भी बरामद किए गए हैं। डीसीपी ने बताया कि आरोपी से पूछताछ की जा रही है ताकि पूरे नेटवर्क का पता लगाया जा सके।