चडीगढ़ जेल से छूटकर फिर से बड़े ठग गिरोह से जुड़ा शातिर
- दुबई में बैठे आका करते है ऑनलाइन फ्रॉड
- कमिश्नरेट पूर्व डीएसटी की बड़ी कार्रवाई
- कमिश्नरेट पुलिस ने ही गिरफ्तार कर चंडीगढ़ पुलिस को सौंपा था
- फिर से लगा फ्रॉड कार्य में
- अब पुलिस हिरासत मेंं
- दो अन्य भी गिरफ्तार
जोधपुर,चडीगढ़ जेल से छूटकर फिर से बड़े ठग गिरोह से जुड़ा शातिर। लोगों को झांसे में लेकर उनकी आईडी लेकर बैंकों में फर्जी तरीके से रुपए डलवाने वाला शातिर एक बार फिर पुलिस के हत्थे चढ़ा है। यह शातिर पहले भी कमिश्ररेट पुलिस के हत्थे चढ़ा था बाद में उसे चड़ीगढ़ पुलिस को सौंपा गया था। जेल से जमानत पर रिहा होकर फिर से फ्रॉड के काम में लग गया। जोधपुर की डीएसटी पूर्व पुलिस ने बड़ी कार्रवाई करते हुए फिर से उसे पकड़ा है और उदयमंदिर पुलिस के सुपुर्द किया है। पूछताछ और जांच में सामने आया कि फ्रॉड करने वालों का कनेक्शन दुबई से जो वहां पर ऑनलाइन काम करते हैं। स्थानीय लोगों को पता भी नहीं चलता है कि उनकी दी गई आईडी का किस तरह दुरूपयोग हो रहा है। आम लोगों का डाटा कंपनियों से अच्छे कमीशन का लालच देकर लिया जाता है बाद में दुबई भेज दिया जाता है। तकरीबन दो से ढाई करोड़ का ठगी का खुलासा फिलहाल हुआ है,इसकी मात्रा बढ़ भी सकती है।
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पुलिस ने शातिर जाटों का बास बनाड़ निवासी अशोक डांगी को फिर से गिरफ्तार किया है। कमिश्ररेट पुलिस की डीएसटी ने छह सात महिने पहले उसे डांगियवास क्षेत्र से पकड़ा था बाद में उसे चण्डीगढ़ पुलिस के हवाले कर दिया था। वह जेल में रहा और फिर जमानत पर रिहा हो गया। पुलिस को पता लगा कि वह फिर से फ्रॉड करने लगा है तो उसे पकड़ा गया। फ्रॉड करने वाला अशोक डांगी स्थानीय लोगों को जिनमें बड़े प्रोडक्टरों को अपना निशाना बनाता है। लोगों की आईडी लेकर उन्हें कंपनियों के मार्फत कमीशन दिलाता है। जबकि वास्तव में आम आदमी की आईडी का पूरा डाटा दुबई भेज दिया जाता है। खातों में लाखों करोड़ों का ट्रांजेक्शन होता रहता है और लोगों को पता नहीं चल पाया कि उनकी आईडी का क्या यूज हो रहा है। बड़े घोटलेबाज जीएसटी चोरी का फायदा उठाते हैं। फर्मों को करंट एकांउट पर छूट दी जाती है। जिसका फायदा फ्रॉड करने वाले उठाते है। जिस फर्म का करंट एकाउंट होता है उसे फ्रॉड करने का अच्छा कमीशन देते है,सेविंग एकाउंट वालों को कम कमीशन दिया जाता है। अशोक डांगी भी ऐसे ही फ्रॉड करने वालों के साथ जुड़ा है। डीएसटी पूर्व ने उसे एक बार फिर से गिरफ्तार कर उदयमंदिर पुलिस के सुपुर्द किया है। उसके खिलाफ डीएसटी प्रभारी कन्हैयालाल की तरफ से केस दर्ज करवाया गया है।
टेलीग्राम एक्सेस से करते फ्रॉड
अभियुक्तों से जानकारी में भी सामने आया कि यह लोग टेलीग्राम एक्सेस से लोगों साइबर फ्रॉड वाले गुपों से जुड़वा कर ठगी करवाते थे। इनके पास से पांच एटीएम,पांच सिम कार्ड बरामद हुए हैं।
देश के अन्य प्रदेशों में फ्रॉड करने वालों को भेज देत डिटेल
कमीशन के नाम पर यह लोगों की आईडी लेकर झारखंड,दिल्ली, हरियाणा में बैठे फ्रॉड करने वालों को भेज देते फिर दुबई तक उन्हें भेजा जाता था।
दो अन्य भी गिरफ्तार
पुलिस ने मथानिया के बिंजवाडिय़ा निवासी दिनेश पुत्र फताराम चौहान और नागौर जिले चितावा कुकणवाली निवासी विकास उर्फ विक्कू पुत्र बेगाराम जाट को पकड़ा है।
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