गैंगस्टर से नेता बने मुख्तार अंसारी की मौत
- दिल का दौरा पड़ने से हुआ निधन
- बांदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया गया था
- 9 डॉक्टरों की टीम निगरानी कर रही थी
- मेडिकल कॉलेज के बाहर पैरा मिलिट्री फोर्स तैनात
- परिवार के सदस्य बांदा के लिए रवाना हो गए
- गाजीपुर,मऊ,आजमगढ़ हाई अलर्ट
- सोशल मीडिया में अफवाह,भड़काऊ,आपत्तिजनक पोस्ट पर कार्यवाई के निर्देश
- मुख्तार अंसारी पर 65 से ज्यादा मुकदमें दर्ज थे
- 2 केस में उम्र कैद की सजा हुई थी
- 17 महीने में 8 बार सजा हुई थी
बांदा,गैंगस्टर से नेता बने मुख्तार अंसारी की मौत। उत्तर प्रदेश जेल में सजा काट रहे उत्तर प्रदेश के गैंगस्टर दबंग नेता मुख्तार अंसारी की तबीयत बिगड़ने पर उन्हें बांदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां दिल का दौरा पड़ने से मुख्तार अंसारी की मौत हो गई।मुख्तार अंसारी बांदा मेडिकल के आईसीयू में भर्ती कराया गया था जहां 9 डॉक्टरों की टीम निगरानी कर रही थी। प्राप्त जानकारी और मीडिया रिपोर्टों के अनुसार अपराधी मुख्तार अंसारी काफी समय से बंदा जेल में बंद था। अचानक तबीयत बिगड़ गई और मुख्तार को दिल का दौरा पर गया। जिसके बाद उसे बांदा के मेडिकल कालेज के अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। बांदा मेडिकल कॉलेज की ओर से जारी मेडिकल बुलेटिन में कार्डियक अरेस्ट से मुख्तार अंसारी की मौत की वजह बताई गई है
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सुरक्षा के लिहाज से मेडिकल कॉलेज के बाहर पैरा मिलिट्री फोर्स को तैनात किया गया है। डीजीपी मुख्यालय ने सतर्कता बरतने के निर्दश दिए हैं। माफिया मुख्तार के परिवार के सदस्य बांदा के लिए रवाना हो गए। मुख्तार का छोटा बेटा उमर अंसारी बांदा के लिए रवाना हो गया है और मुख्तार के बड़े बेटे अब्बास अंसारी की पत्नी निखत और अफजाल अंसारी भी कुछ समय पहले ही गाजीपुर से बांदा के लिए रवाना हुए हैं। हाईकोर्ट में मुख्तार अंसारी की पैरवी करने वाले वकील अजय श्रीवास्तव भी बांदा के लिए रवाना हुए। मुख्तार के पैतृक घर में लोग इकट्ठा होना शुरू हो गए हैं। उनके घर के परिसर में पुलिस फोर्स तैनात की गई है। गाजीपुर,मऊ, आजमगढ़ पुलिस को हाई अलर्ट के निर्देश हैं। सोशल मीडिया में अफवाह, भड़काऊ,या आपत्तिजनक पोस्ट पर कार्यवाई के निर्देश दिए गए हैं। मुख्तार की मौत के बाद मऊ,बांदा और गाजीपुर में धारा 144 लागू कर दी गई है।
मुख्तार अंसारी की मौत की खबर सुनते ही अस्पताल परिसर में उनके परिचित,समर्थक व चाहने वालों की भीड़ लग गई। मौत की खबर के बाद उत्तर प्रदेश के कई इलके बांदा,मऊ और गाजीपुर में सुरक्षा बढ़ा दी गई। उनके ग़ाज़ीपुर स्थित आवास के बाहर भी काफी संख्या में लोगों की भीड़ जमा हो गई। मुख्तार ने जेल में रहते हुए कई बार अपनी हत्या की आशंका भी जताई थी। मुख्तार अंसारी पर कई आपराधिक मामले थे जिनमे जेल में सजा काट रहे थे। बताया गया कि मुख्तार अंसारी पर 65 से ज्यादा मुकदमें दर्ज थे। 21 सितंबर 2002 को पहली बार सजा हुई थी। उन्हें 2 केस में उम्र कैद की सजा हुई थी, 17 महीने में 8 बार सजा हुई थी।
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