रिपोर्ट:- जेपी गोयल
शेरगढ़, इस बार शेरगढ़ क्षेत्र में मानसून की पर्याप्त बारिश नहीं होने से क्षेत्र के गांवों में सूखा व अकाल के हालात बनने लगे हैं। हालात इस कदर है कि देरी से हुई बारिश के बाद किसानों ने खेतों में बाजरा, मोठ, मूंग व ग्वार आदि की बुवाई की लेकिन समय पर पर्याप्त बारिश नहीं होने से अब बाजरा आदि कि फसलें झुलस रही हैं, जिसको लेकर किसान मायूस है। पूर्व कृषि मण्डी के डायरेक्टर लुम्बानसर (सुवालिया) निवासी रामुराम दहिया का कहना है कि बरसात की कमी से फसलें जल रही हैं किसान मायूस व चिंतित हैं।
इस स्थिति में किसानों द्वारा खरीफ फसल बुवाई के लिए लिया गया ऋण भी भरना मुश्किल हो रहा है। स्थिति को देखते हुए सरकार किसानों का ऋण माफ करे। किसान भलाराम चौधरी का कहना है कि बालाजी नगर में आज से लगभग 2 माह पूर्व फसल बुवाई की गई थी जिसके बाद कम से कम दो बार ही बरसात हुई थी जिससे फसल काफी ठीक हो गई थी उसके बाद 1 माह से बिल्कुल बारिश नहीं होने के कारण अब फसलें जल कर नष्ट होने के कगार पर हैं।
यदि समय पर इन्द्रदेव मेहरबान नहीं हुए तो किसानों की मेहनत चौपट हो जाएगी। एक खेत खसरा नम्बर 1256 जिसमें 30 बीघा में फसल बुवाई की हुई है यदि चार-पांच दिन में बरसात नहीं हुई तो यह पूरी की पूरी फसल जलकर नष्ट हो जाएगी। शेरगढ़ के तहसीलदार भारतसिंह राठौड़ का कहना है कि शेरगढ़ में इस साल सामान्य से कम बरसात हुई है। शेरगढ़ तहसील क्षेत्र में सितम्बर माह में फसल की गिरदावरी कराई जाएगी।
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