जल संरक्षण महज सरकारी कार्यक्रम नहीं अब जन आंदोलन- शेखावत
इस अभियान में महिलाओं की उल्लेखनीय भागीदारी
जोधपुर(डीडीन्यूज),जल संरक्षण महज सरकारी कार्यक्रम नहीं अब जन आंदोलन-शेखावत। केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि राजस्थान में जल संरक्षण अब सिर्फ एक सरकारी पहल नहीं,बल्कि एक व्यापक जन आंदोलन का रूप ले चुका है। इस अभियान में महिलाओं की सक्रिय भागीदारी विशेष रूप से उल्लेखनीय है,जो इस बात का संकेत है कि जल संकट से सर्वाधिक प्रभावित होने के कारण वे पर्यावरणीय चेतना की अग्रणी वाहक बन चुकी हैं।
वे मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में बोल रहे थे। उन्होंने कहा वंदे गंगा जल संरक्षण अभियान के तहत राजस्थान सरकार के ग्रामीण विकास और पंचायती राज विभाग द्वारा अब तक 57 से 58 हजार कार्यक्रम किए जा चुके हैं। प्रदेश के सभी जिलों और संभागों में यह अभियान सक्रिय रूप से चल रहा है,जिसमें महिलाओं की भागीदारी सबसे अधिक रही है। उन्होंने कहा कि जल संरक्षण को लेकर लोगों में जैसी जागरुकता आई है,उसने इस पहल को एक वास्तविक जन आंदोलन में बदल दिया है।
शेखावत ने जानकारी दी कि अभियान के अंतर्गत हजारों पारंपरिक जल स्रोतों का पुनरुद्धार किया गया है,जिनमें कैचमेंट क्षेत्रों की सफाई और अवरोधों को हटाने का कार्य शामिल है। जोजरी नदी के कायाकल्प की दिशा में भी उल्लेखनीय प्रगति हुई है,जिससे जोधपुर और इसके आसपास के 26 किलोमीटर के दायरे में स्थित क्षेत्रों को दीर्घकालिक लाभ होगा।
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मुख्यमंत्री ने पाइपलाइन परियोजना पर जताई सहमति
शेखावत ने कहा कि दो दिन पूर्व उनकी मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के साथ विस्तृत चर्चा हुई, जिसमें उन्होंने पाली,जोधपुर और बालोतरा से निकलने वाले रासायनिक युक्त जल को पाइपलाइन के माध्यम से कच्छ क्षेत्र तक पहुंचाने का सुझाव दिया। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री ने इस प्रस्ताव को सैद्धांतिक रूप से मंजूरी दे दी है। शेखावत के अनुसार इस योजना से केवल उद्योगों को ही नहीं, बल्कि प्रदूषित भूमि की गुणवत्ता में भी सुधार होगा। जब शोधित जल नदियों में बहेगा,तो यह न केवल जल स्रोतों की प्राकृतिक शुद्धता लौटाएगा, बल्कि किसानों की समृद्धि में भी योगदान देगा। इस अवसर पर जिला अध्यक्ष राजेंद्र पालीवाल,सूरसागर विधायक देवेन्द्र जोशी,शहर विधायक अतुलभंसाली, शेरगढ़ विधायक बाबू सिंह राठौड़ मौजूद थे।