तकनीकी शिक्षा को मिलेंगे नए आयाम-सहगल
जोधपुर,तकनीकी शिक्षा को मिलेंगे नए आयाम-सहगल। राजस्थान सरकार के तकनीकी शिक्षा निदेशालय द्वारा गुरुवार को नव- नियुक्त निदेशक अंशु कुमार सहगल की अध्यक्षता में राजस्थान के समस्त राजकीय पॉलिटेक्निक महाविद्यालयों के प्रधानाचार्यों की राज्य स्तरीय बैठक का आयोजन किया गया।
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इस बैठक में निदेशालय,प्राविधिक शिक्षा मंडल,टीटीसी व एलआरडीसी के सभी आधिकरियों ने भाग लिया। टीटीसी एवं एलआरडीसी के संयुक्त निदेशक एवं अधिकारियों के संयोजन में तकनीकी शिक्षा निदेशालय के निदेशक की अध्यक्षता में तकनीकी शिक्षा के संयुक्त निदेशकों, अधिकारियों सहित 47 राजकीय पॉलिटेक्निक महाविद्यालयों के प्रधानाचार्यों समेत 84अधिकरियों की उपस्थित हुए।
बैठक का उद्देश्य राज्य के तकनीकी शिक्षण संस्थानों की शिक्षा व्यवस्था को सुदृढ करना एवं छात्रों के शैक्षिक विकास के लिए आवश्यक कदम उठाना है। बैठक का प्रारंभ मां सरस्वती के चित्र के समक्ष दीप प्रज्जवलन और राष्ट्र गीत से हुआ।
निदेशक की अध्यक्षता में छात्र हितों एवं तकनीकी शिक्षा में नवाचार के लिए मंथन हेतु राजस्थान के समस्त राजकीय पॉलिटेक्निक महाविद्यालयों के प्रधानाचार्यों कि उपस्थिति इस बैठक का आधार रही। नवीन शिक्षा नीति, डिजिटलाईजेशन को कार्य शैली में शामिल करने पर जोर दिया गया। राज्य के समस्त राजकीय पॉलिटेक्निक महाविद्यालयों में हाइब्रिड कक्षाओं की स्थापना तथा ऑन लाईन अध्यापन की कार्य योजना का प्रस्तुति करण किया गया।
पर्यावरण के प्रति प्रतिबद्धता,संरक्षण एवं जागरूकता को ध्यान में रखते हुए कार्यालयों को पेपर-लैस करने का निश्चय किया गया। निदेशक ने राजकीय पॉलिटेक्निक महाविद्यालयों के छात्रों को शत प्रतिशत कैंपस प्लेसमेंट हो इसके लिए अपनी कटीबद्धता जाहिर कर दिशा निर्देश दिये। राज्य के प्रत्येक पॉलिटेक्निक
महाविद्यालयों में ‘शिक्षा मंदिर’ स्थापित करने का निर्णय लिया गया। राज्य के प्रत्येक पॉलिटेक्निक महाविद्यालयों के पाठ्यक्रम को नवीनतम तकनीक के अनुसार एवं रोजगार उन्मुख बनाने का निर्णय लिया गया।
बैठक में निदेशक द्वारा छात्रों के शैक्षिक, मानसिक,चारित्रिक विकास के साथ राष्ट्रीयता की भावना एवं राष्ट्र के प्रति प्रेम,समर्पण के भाव उत्पन्न करने के लिए महाविद्यालयों में निरंतर सांस्कृतिक कार्यक्रम,खेलकूद तथा राष्ट्रीय महत्व के कार्याक्रमों का आयोजन करने पर बल दिया। राज्य के महाविद्यालयों में प्रायोगिक शिक्षा के उच्च स्तर हेतु राज्य स्तर पर सर्वश्रेष्ठ प्रोजेक्ट प्रतिस्पर्धा का आयोजन किया जाएगा।
निदेशक ने समस्त प्रधानाचार्यों को आश्वासन दिया की संस्थाओं में शिक्षकों, प्राध्यापकों की कमी, नियमित पदोन्नति, करियर एडवांसमेंट पर अधिकारियों एवं कर्मचारियों का पक्ष राज्य सरकार के समक्ष पुरजोर शब्दों में रखेंगें। बैठक में ई-फाइलिंग, वृक्षारोपण,कर्मयोगी योजना,III सेल (प्लेसमेंट स्थिति),स्मार्ट क्लास रूम, शैक्षिक प्रोजेक्ट अवार्ड, शैक्षणिक तकनीकों की उन्नति,जल सरक्षण, स्टाफ की स्थिति,छात्रावास सुविधाएं, प्रवेश प्रक्रिया,सांस्कृतिक कार्यक्रम,औद्योगिक भ्रमणों और अन्य शैक्षिक व प्रशासनिक मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की गई। निदेशक ने प्रधानाचार्यों से आह्वान किया कि विजन 2047 के दृष्टिगत अपनी कार्य योजना शीघ्र प्रस्तुत करें।
अंत में संयुक्त निदेशक,टीटीसी व एलआर डीसी ने अपने संबोधन में निदेशक को धन्यवाद ज्ञापित करते हुए कहा कि यह बैठक तकनीकी शिक्षा के विकास को गति देने और छात्रों की समस्याओं के समाधान के लिए महत्वपूर्ण कदम साबित होगी। बैठक में तकनीकी शिक्षा के उच्च अधिकारी रंजु गुप्ता,आलोक बंसल, राजीव जयसवाल तथा बाबू लाल दीपन आदि सम्मिलित हुए। राष्ट्रगान के साथ बैठक संपन्न हुआ। संचालन टीआर राठौड़ के किया।