दंपत्ती ने ई-मित्र संचालक को हनी ट्रेप में फांसा

  • लिव इन रिलेशन में रहने की दी धमकियां, बंधक बनाया
  • बच्चा अडोप्ट करने के बहाने प्रेमजाल मे फांसा
  • पीडि़त के पिता ने दी रिपोर्ट
  • महिला कायलाना में जान देनी भी गई

जोधपुर, शहर के माता का थान स्थित एक ई-मित्र संचालक को नागौर के दंपत्ती ने हनी ट्रेप में फांस लिया। घटना 2020 जुलाई से शुरू हुई। दो साल तक संचालक को अनैतिक कार्यों में लगाने के साथ बंधक बनाया गया है। पीडि़त के पिता ने कोर्ट में इस्तगासा दायर कर अब माता का थान पुलिस थाने में दंपत्ती के खिलाफ केस दर्ज करवाया है।

आरोप है कि ई-मित्र संचालक आज भी बंधक बनाया हुआ है। पुलिस ने प्रकरण दर्ज करते हुए इसमें अब जांच आरंभ की है। यह भी विदित रहे कि हनी ट्रेप में फांसने वाली महिला ने 3 जुलाई को झूठमूठ कायलाना में कूदने का नाटक किया था, जिसे गोताखोरों ने बचा लिया था।

थानाधिकारी निशा भटनागर ने बताया कि थाना क्षेत्र के रहने वाले एक व्यक्ति  की तरफ से यह मामला दर्ज करवाया गया है। इसमें बताया कि उसका एक पुत्र ई-मित्र का संचालन माता का थान क्षेत्र में करता है। जुलाई 2020 में उसका पुत्र अपने ई-मित्र पर था। तब एक महिला और पुरूष आए। उन्होंने खुद को शादीसुदा बतााया और कहा कि उनकी शादी साल 2014 में हुई थी। मगर शादी के छह साल बाद भी कोई बच्चा नहीं हुआ है। इसके लिए वे ऑनलाइन बच्चा अडोप्ट करने के लिए फार्म भरना चाहते हैं।

इस पर उसके पुत्र ने महिला और उसके  साथ आए व्यक्ति के दस्तावेज आदि मांगे। तब उन्होंने अपने दस्तावेज नागौर जिले अवनी उर्फ रविंद्र एवं महिला ने अपना नाम पूजा होना बताया। इनके दस्तावेजों को ऑन लाइन भेजा गया। इसके बाद पूजा नाम की इस महिला ने अपने पति को नंपुसक बताते हुए ई-मित्र संचालक से दोस्ती को कहा। मगर पीडि़त के पुत्र के साफ इंकार किए जाने के बाद भी पूजा नाम की यह महिला उसके पुत्र को बारबार फोन करती और बातें करती थी।

जून 2022 में यह महिला और उसका पति माता का थान क्षेत्र में किराए पर आकर रहने लग गए। तब ई-मित्र संचालक से प्रगाढ़ता और बढ़ा ली। वर्ष 2021 में तक पीडि़त ई-मित्र संचालक की सगाई भी हो गई थी। तब इस महिला ने ई-मित्र संचालक की मंगेतर को 24 जून को अपने संबंधों के बारे जानकारी देने के साथ मैसेज करने शुरू कर दिए। इसके बाद आरोपी महिला और उसका पति ई-मित्र संचालक को 25 जून को जयपुर लेकर गए। जहां से 29 जून को वापिस लेकर आए।

पीडि़त का आरोप है कि उसके पुत्र को पावटा स्थित गेस्ट हाउस में रखा गया और बंधक बना लिया। इस साल 2 जुलाई को इस महिला ने कचहरी से 500 रूपयों का स्टांप खरीदा और उसके पुत्र पर लिव इन रिलेशन में रहने का दबाब बनाया और बंधक बनाकर दस्ताावेजों पर जबरन हस्ताक्षर करवाए। ई-मित्र संचालक को शहर के विभिन्न होटलों में लेकर जाकर बंधक बनाने के साथ रूपयों की डिमांड की गई। ई-मित्र संचालक को उसके घर आने जाने के बीच बार बार रैकी करते रहे। 2 जुलाई को मारपीट की गई। पीडि़त पिता का आरोप है कि उसके पुत्र को झूठे रेप में फंसाने, सगाई तुड़वाने की धमकियां दी गई। पुत्र को बंधक बनाया गया।

इस महिला ने खुद को सही साबित करने के लिए 3 जुलाई को होटल के कमरे से निकल कर कायलाना गई और जान देने का प्रयास किया। मगर गोताखोरों ने उसे बचा लिया था। पीडि़त ने इस बारे में पहले पुलिस आयुक्तालय में परिवाद दिया था। मगर कोई कार्रवाई नहीं होने पर अब ई-मित्र संचालक के पिता ने कोर्ट में इस्तागास लगाकर पुत्र को झूठे रेप केस में फंसाने, जान की धमकियां, सगाई तुड़वाने, रूपयों की डिमांड करने,अपहरण कर ले जाने एवं बंधक बनाने का आरेाप लगाते हुए मामला दर्ज कराया है।

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