इंडो स्वीडन हेल्थ केयर इनोवेशन सेंटर इन्नोवेशन चैलेंज के परिणाम की घोषणा
जोधपुर, स्वीडन इंडिया नोबेल मेमोरियल सप्ताह के तहत एक वर्चुअल वेबीनार में एम्स जोधपुर में इंडो स्वीडिश इनोवेशन सेंटर का अनावरण किया गया। इस कार्यक्रम में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन, भारत में स्वीडन के राजदूत क्लास मोलीन, सचिव स्वास्थ्य विभाग राजेश भूषण, संयुक्त सचिव स्वास्थ्य विभाग अव अग्रवाल, स्वीडन के स्वास्थ्य विभाग के डिप्टी डारेक्टर जनरल निकोलस जेकब्सॉन, एम्स जोधपुर के निदेशक प्रोफ़ेसर संजीव मिश्रा, एम्स दिल्ली के निदेशक प्रोफ़ेसर रणदीप गुलेरिया, स्वीडन ट्रेड कमिशनर एंडर्स टोफ्टे एवं अस्ट्रा जेनेका के चेयरमैन लिफ जोहानसन सम्मिलित हुए।
कार्यक्रम में ओंकोलोजी,कैंसर उपचारद्ध में सेंटर ऑफ एक्सलेन्स का विधिवत उदघाटन राजेश भूषण सचिव स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय भारत सरकार ने किया। इस अवसर पर कैंसर के संबंध में जानकारी पर भी महत्व दिया गया कि अधिकांश कैंसर रोगी अपनी बीमारियों और इससे संबंधित जटिलताओं से मरीज अनभिज्ञ रहते हैं और उचित दवाइयां भी समय पर नहीं ले पाते। किस प्रकार कैंसर के उपचार को विकसित करने की कई संभावनाएं हैं। इंडो स्वीडिश इनोवेसन हब इन्हीं संभावनाओं को वास्तविकता में बदलने के लिए एक वृहद प्लैटफ़ार्म उपलब्ध कराएगा। इस दिशा में आवश्यक प्रारम्भिक तैयारियाँ संस्थान द्वारा पूरी कर ली गई हैं और संस्थान इनोवेसन के पथ पर अग्रेशीत हो रहा है। इंडो स्वीडन हेल्थ केयर इनोवेशन सेंटर ने अपने बहुप्रतीक्षित इन्नोवेशन चैलेंज के 14 विजेताओं की घोषणा भी कर दी। इस प्रतियोगिता में भारत में विभिन्न बीमारियों एवं स्वास्थ्य सुविधाओं की डिलीवरी से संबंधित समस्याओं को पहचाना गया और उनके इनोवेटिव समाधान सुझाए गए थे। देश-विदेश से लगभग 500 अलग अलग प्रतियोगियों ने इस प्रतियोगिता में भाग लिया था। सभी विजेताओं के नाम केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन की उपस्थिति में घोषित किए गए। इन पुरस्कारों का चयन एक विशेषज्ञों के पैनल ने किया। इस पैनल में एम्स जोधपुर, एम्स दिल्ली, आईसीएमआर, स्वीडिश ट्रेड कमिश्नर ऑफिस ऑफ इंडिया, एस्ट्रेजनेका एवं अन्य पार्टनर्स के सदस्य थे। ज्ञात रहे कि इंडिया स्वीडन हेल्थ केयर इन्नोवेशन सेंटर, राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय स्वास्थ्य समस्याओं के नवीन उपायों के लिए एम्स जोधपुर, एम्स दिल्ली एवं स्वीडिश ट्रेड कमिश्नर ऑफिस का एक सम्मिलित प्रयास है। यह सेंटर इन संस्थाओं के प्रयासों से देश एवं विदेश में मौजूद स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के इनोवेटिव उपायों के मंथन का एक प्लेटफार्म बना रहेगा और समय-समय पर ऐसे कार्यक्रमों से स्वास्थ्य के क्षेत्र में रीसर्च और समाधानो को बढ़ावा देता रहेगा। इसके तहत विभिन्न स्टार्टअप्स एवं पार्टनर संस्थाओं के साथ मिलकर स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के समाधानो को एक एकीकृत इकोसिस्टम में ढाला जाएगा। इससे स्वास्थ्य के क्षेत्र में राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय दूरगामी फायदे होंगे। एम्स जोधपुर के निदेशक डॉ संजीव मिश्रा ने इस अवसर पर कहा कि मौजूदा पांडेमिक ने हमें सिखाया है कि इनोवेटिव सुझावों की जरूरत अभी पहले से कहीं ज्यादा है। स्वीडन के साथ मिलकर इन स्टार्टअप्स को स्वास्थ्य के क्षेत्र में खासकर कैंसर के इलाज और देखभाल में बदलाव लाने के लिए एम्स जोधपुर सदैव प्रयासरत रहेगा। स्वास्थ्य मंत्री ने इन सभी प्रयासों के लिए एम्स जोधपुर द्वारा उठाए गए कदमों की सराहना की।