कंधे के फ्रेक्चर का ऑपरेशन हुआ फेल,रिवर्स शोल्डर रिप्लेसमेंट से किया ईलाज
जोधपुर,कंधे के फ्रेक्चर का ऑपरेशन हुआ फेल,रिवर्स शोल्डर रिप्लेसमेंट से किया ईलाज। एक्सीडेंट में चोट ग्रस्त पाँच वर्ष से पीड़ित 68 वर्षीय मरीज कंधे की समस्या लेकर महात्मा गांधी अस्पताल अस्थि रोग विभाग में आया जहाँ उसकी 27 अगस्त 2024 को रिवर्स शोल्डर ऑर्थोप्लास्टी सर्जरी हुई। ऑपरेशन के बाद मरीज पूर्णतः स्वस्थ है एवं उसकी फिजियोथैरेपी चल रही है।
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अस्थि रोग विभाग के सह आचार्य एवं इकाई प्रमुख डॉ.हेमन्त जैन ने बताया कि पाली निवासी मरीज बस्तीदास का 05 वर्ष पूर्व कंधे की हड्डी का फ्रेक्चर हो गया था जिसका ऑपरेशन उसने अन्यत्र करवाया था। ऑपरेशन के बाद उसकी हड्डी भी नहीं जुड़ी एवं प्लेट के पेच/स्क्रू ढीले होकर हड्डी से बाहर आ गये इसकी वजह से उसका हाथ उपर नहीं उठ रहा था एवं कंधे में निरंतर दर्द रहता था। बीते 05 वर्षों में उसने कई जगह परामर्श लिया लेकिन उसे कहीं भी सफल ईलाज का आश्वासन नहीं मिला।
13 अगस्त 2024 को मरीज ने महात्मा गांधी चिकित्सालय के अस्थि रोग विभाग में डॉ.हेमन्त जैन को दिखाया। खून की जाँचो एवं सीटी स्केन के बाद इसमे कोई भी इपेंक्शन नहीं पाया गया। मरीज की उम्र एवं कमजोर हड्डी को देखते हुए इसमें रिवर्स शोल्डर रिप्लेसमेंट सर्जरी का प्लान किया गया। इस तकनीक में बॉल की जगह सॉकेट एवं ग्लीनॉईड की जगह बॉल फिट की जाती है। यह नवीनतम तकनीक है एवं इसके परिणाम अन्य तकनीक से बेहतर है क्योंकि इसमें डेल्टोईड मासपेशी काम करती है, जो बुजुर्गों में भी कमजोर नहीं होती। प्राचार्य डॉ. भारती सारस्वत तथा अधीक्षक डॉ. फतेह सिंह भाटी ने बताया कि लाखों का यह ऑपरेशन मरीज के लिए निःशुल्क किया गया।
ऑपरेशन करने वाली टीम
हड्डी रोग विभाग-डॉ.हेमन्त जैन,डॉ. गौतम चंद,डॉ.प्रवीण,डॉ.संदीप,डॉ. विजेन्द्र।
निश्चेतना विभाग- डॉ.वन्दना शर्मा,डॉ.अनिशा।
नर्सिंगकर्मी एवं अन्य- अजीत गुरनानी,गणपत एवं विकास मिश्रा आदि ने सहयोग किया।
फिजियोथैरेपी- लोकेश कुमार, खलिक अहमद,मदन लाल,प्रियंका, आरती,नीलम।