आयुर्वेद विवि ने चलाया विश्व थायराइड दिवस पर जागरूकता अभियान

  • मण्डोर गार्डन में लगाया जागरूकता शिविर

जोधपुर(डीडीन्यूज),आयुर्वेद विवि ने चलाया विश्व थायराइड दिवस पर जागरूकता अभियान।डॉ.सर्वपल्ली राधाकृष्णनन राजस्थान आयुर्वेद विश्वविद्यालय केे संघटक कॉलेज ऑफ होम्योपैथी,जोधपुर के प्राचार्य डॉ.गौरव नागर एवं शिविर प्रभारी डॉ.राजेश कुमार कुमावत के निर्देश पर कम्युनिटी मेडिसिन विभाग की ओर से विश्व थायराइड दिवस पर जन जागरूकता शिविर आयोजन किया गया।

शिविर में होम्योपैथी के विशेषज्ञ चिकित्सक डॉ.सपना सालोदिया,डॉ. अंकिता आचार्य,डॉ.राकेश कुमार मीना एवं द्वितीय वर्ष छात्र विशाल यादव,लवीशा सांखला एवं मनस्वी सांखला ने मण्डोर गार्डन में ‘‘विश्व थायराइड दिवस’’ के अवसर पर लगभग 147 लोगो को लाभान्वित किया।

इस अवसर पर डॉ.सपना सालोदिया,डॉ. अंकिता आचार्य एवं डॉ.राकेश कुमार मीना ने बताया कि दुनियाभर में 42 मिलियन लोग थायराइड रोग से पीड़ित हैं। इस बीमारी के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए हर वर्ष 25 मई को विश्व थायराइड दिवस मनाया जाता है। विश्व थायराइड दिवस 2025 की थीम ‘थायराइड विकारों की रोकथाम और प्रारंभिक पहचान’है,ताकि लोगों को थायराइड रोग के बारे में शिक्षित किया जा सके और इसके लक्षणों के बारे में जागरूक किया जा सके।

उन्होंने बताया कि थायराइड के मुख्य लक्षण कमजोरी व थकान महसूस करना,वजन का तेजी से बढ़ना और मोटापा,आवाज भारी होना,त्वचा सूखी रहना,पेट में ज्यादा कब्ज महसूस होना,हेवी मेंस्ट्रुअल ब्लीडिंग,ज्यादा ठंड लगना,मांस पेशियों में दर्द रहना है। निदान में देरी से बांझपन,हृदय की समस्या और मानसिक स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं जैसे गंभीर जटिलताएं हो सकती है।

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उन्होंने बताया कि गोइटर का मतलब थायराइड ग्रंथि का बढ़ना है, जो तब हो सकता है जब थायराइड पर्याप्त हार्मोन बनाने के लिए अधिक मेहनत कर रहा हो,थायराइड के दो मुख्य प्रकार हैं हाइपोथायरायडिज्म और हाइपरथाइरॉयडिज़्म। थाइरॉएड लेवल कैसे कम करें इसके लिए हमें दैनिक जीवन में विटामिन ए को लेना चाहिए जिसमें पीले और हरी सब्जियां गाजर एवं पालक है।